भारत रत्न महामना पं.मदन मोहन मालवीय की जयन्ती पर सोमवार को उनकी कर्मस्थली काशी हिन्दू विश्वविद्वालय परिसर में चहुंओर उनके प्रति श्रद्धा उफान मारती रही। इस मौके पर परिसर स्थित मालवीय भवन में पुष्प प्रदर्शनी का शुभारंभ हुआ। प्रदर्शनी का उद्घाटन चिकित्सा विज्ञान संस्थान के निदेशक प्रो.वी.के.शुक्ल ने किया।
प्रदर्शनी के चलते परिसर में रंग-बिरंगे विभिन्न प्रजातियों के फूलों से स्वर्ग जमीन पर उतरने का एहसास हो रहा था। इस अद्भुत फूलों की प्रदर्शनी देखने के लिए पूरा शहर उमड़ पड़ा। इस दौरान 5000 से अधिक पुष्प की प्रजातियों के साथ गुलदावदी के कटे फूल, गुलाब के कटे फूल लीलियम, जरेबरा, कार्नेशन, ग्लैडियोलस, रजनीगंधा, बर्ड आॅफ पैराडाईज, गेंदा, गुलाब आदि पुश्पों के गमलें, रिफ्लैक्स्ड, इनकवर्ड, इनकर्विंग, स्पाइडर, पोममौन, स्पून, एनिमोन के फूल आकर्षण के केन्द्र बने रहे।
पुष्प प्रदशनी आयोजन के सचिव प्रोफेसर इंचार्ज अनिल कुमार सिंह ने बताया कि मालवीय स्मृति पुष्प प्रदर्शनी में गुलदावदी के गमले एवं फूलों के संग्रह, कोलियस, विभिन्न प्रकार के शोभाकारी पौधे एवं रंगीन पत्तियों के समूह भी शामिल है। प्रदर्शनी में सबसे सुन्दर गुलाब किंग आफ दी शो, सबसे सुन्दर द्वितीय गुलाब क्वीन आफ दी शो, प्रदर्शनी का सबसे सुन्दर तृतीय गुलाब प्रिंस आफ दी शो तथा प्रर्दशनी का सबसे सुन्दर चतुर्थ गुलाब प्रिंसेस आफ दी शो मुख्य आकर्षण का केन्द्र हैं। साथ ही विभिन्न प्रकार के फल एवं सब्जियां, कलात्मक पुष्प सज्जा, मण्डप, फूलों से सुसज्जित रंगोली, सुकर्तन कला (टॉपियरी) बोनसाई और हरी पत्तियों के संग्रह, मालवीय जी पर आधारित वास्तुकला के नमूने मानव पक्षी एवं जल प्रपात भी आकर्षण हैं।बताया कि प्रदर्शनी में विश्वविद्यालय के अन्य विभाग,छात्रावास,उद्यानों के साथ-साथ वाराणसी जनपद के विभिन्न संस्थाएं,39 जीटीसी छावनी परिसर, उपनिदेशक उद्यान वाराणसी, जिला उद्यान अधिकारी वाराणसी, आजमगढ़, गाजीपुर जौनपुर, मीरजापुर, सोनभद्र, संत रविदास नगर (भदोही) चन्दौली एवं मऊ, डीजल इंजन रेल कारखाना वाराणसी, केन्द्रीय कारागार वाराणसी, जिला कारागार वाराणसी, स्थानीय नर्सरी, होटल ,नागरिक भी इसमें सहभागिता कर रहे है। प्रदर्शनी 27 दिसम्बर तक चलेगी।
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